- ‘सुमन-के’ फार्मूले से समझाये उन्हे हाथ धोने का लाभ
- रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होने से खतरा अधिक
- प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाले पदार्थों का करें सेवन
संतकबीरनगर
शुरुआत से ही कहा जा रहा है कि कोरोना का खतरा सबसे अधिक बुजुर्गों और बच्चों को है, क्योंकि उनकी रोगों के प्रति प्रतिरोधक क्षमता कम होती है। ऐसे में उनका खास ख्याल रखा जाना बहुत जरूरी है। एक ओर बुजुर्गों चलने फिरने में असमर्थ होने के कारण व जागरूक होने के चलते बाहर का रुख कम कर रहे है वही बच्चों से इस तरह की अपेक्षा करना थोड़ा मुश्किल है। बच्चों को घर में रुके रहने के लिए परिवार के सदस्यों को उनकी मदद करनी चाहिए।
अपर मुख्य चिकित्साधिकारी व बाल रोग विशेषज्ञ डॉ मोहन झा ने बताया कि बच्चों को हाथों की स्वच्छता के बारें में जागरूकता पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए। उन्हे सुमन के तरीके से बार बार हाथ धुलने के लिए प्रेरित करना चाहिए, अभिभावक उनके साथ मनोरंजन का माहौल बनाए, खेल खेल में उन्हे हाथ धोने के बारें में समझाये। घर पर रहकर उनके साथ ड्राविंग, कविता व कहानी पढ़ना आदि करे।
बच्चों की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के लिए उन्हे पोषण युक्त भोजन कराये, उनपर किसी भी तरह का दवाब न बनाए और न ही चिल्लाएँ। घर में इस तरह का माहौल बनाए कि उनका मन घर में लगा रहे।
शुरू करे कहानियों को सिलसिला, डाले पढ़ने की आदत
एनसीडी की मनोवैज्ञानिक तन्वगी मणि शुक्ला बताती है कि पहले के समय में जिस तरह घर के बड़े छोटों को कहानी किस्से सुनाया करते थे, अब इस परंपरा को फिर से शुरू करने की आवश्यकता है। जिससे घर के बड़ों और बच्चों दोनों को घर में रहने के लिए प्रोत्साहित कर सकते है। मोबाइल लैपटाप से इतर बच्चों में पढ़ने की आदत को बढ़ाने के लिए उनकी मदद करे। उनको आकर्षित करने के लिए रंगीन किताबों का सहयोग ले, व परिवार के सदस्य खुद भी इसमें उनके भागीदार बने। लैपटाप मोबाइल आदि को एल्कोहल आधारित सेनेटाइजर से सेनेटाइज जरूर करे। साथ ही यदि किसी बच्चे या बुजुर्ग को खांसी जुकाम है तो बाकी सदस्यों को इनसे दूर रखे।
क्या है सुमन के फॉर्मूला
कोरोना वायरस से बचाव के लिए सबसे महत्वपूर्ण सुमन के फॉर्मूला के अनुसार हाथों को बार बार धोना है।
- एस- सीधा हाथ
- यू- उल्टा हाथ
- म- मुट्ठी
- ए- अंगूठा
- एन- नाखून
- के- कलाई
कोरोना वायरस से बचाव के चार प्रमुख संदेश
- हाथों को साबुन और पानी से धोते रहे
- खाँसते और छीकते समय अपने नाक और मुंह को टिशु या रुमाल से ढके
- चेहरे, आँख, नाक, मुंह को बार बार न छुए
- ज्यादा भीड़ भाड़ वाली जगह न जाए, खांसी जुखाम वाले मरीजों से तीन फुट की दूरी बनाए रखे